पुनर्जागरण की धारा में संघ का स्थान महत्वपूर्ण : दलाई लामा

युगवार्ता    02-Oct-2025
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दलाई लामा , बौद्ध धर्मगुरू


नागपुर, 02 अक्टूबर (हि.स.)। बौद्ध धर्मगुरु दलाई लामा ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) को उसकी शताब्दी वर्ष के उपलक्ष्य में शुभकामना संदेश भेजा है। इस संदेश में उन्होंने कहा कि राष्ट्र पुनर्जागरण की व्यापक धारा में संघ का स्थान विशिष्ट और महत्वपूर्ण है।

महाराष्ट्र के नागपुर के रेशिमबाग में गुरुवार काे आयोजित विजयादशमी समारोह में देश-विदेश से कई विशिष्ट अतिथि उपस्थित रहे। किन्हीं कारणों से दलाई लामा स्वयं कार्यक्रम में शामिल नहीं हो सके, लेकिन उन्होंने संघ के बारे में बहुत ही प्रेरणादायी शुभकामना संदेश भेजा, जिसे मंच पर पढ़कर सुनाया गया।

दलाई लामा का संदेश-“पुनर्जागरण की इस व्यापक धारा में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने एक विशिष्ट और महत्वपूर्ण स्थान ग्रहण किया है। संगठन की स्थापना निःस्वार्थ भाव से हुई थी, जिसमें कर्तव्यबोध की निर्मल भावना थी और किसी प्रतिफल की अपेक्षा नहीं थी।

संघ से जुड़ने वाला प्रत्येक स्वयंसेवक मन की पवित्रता और साधनों की पावनता पर आधारित जीवन जीना सीखता है।

संघ की सौ वर्षीय यात्रा समर्पण और सेवा का एक दुर्लभ तथा अनुपम उदाहरण है। इसने निरंतर समाज को एकजुट करने का कार्य किया है और भारत को भौतिक तथा आध्यात्मिक दोनों दृष्टियों से सशक्त बनाया है।

भारत के दुर्गम क्षेत्रों में भी संघ ने शैक्षिक और सामाजिक विकास में योगदान दिया है, साथ ही आपदाग्रस्त क्षेत्रों में भी सहयोग प्रदान किया है।”

कार्यक्रम में देश-विदेश के ये गणमान्य अतिथि रहे माैजूदसंघ के विजयादशमी कार्यक्रम में देश और विदेश से कई प्रतिष्ठित व्यक्ति उपस्थित रहे। इनमें लेफ्टिनेंट जनरल राणा प्रताप कलिता (सेवानिवृत्त)- वे भारतीय सेना के पूर्व कमांडर रहे हैं, जिन्होंने 1984 में कुमाऊं रेजिमेंट से सेवा आरंभ की थी। उन्होंने यूएन मिशन (सीरा लियोन) में भी प्रतिनिधित्व किया है।

के. वी. कार्तिक– प्रबंध निदेशक, डेक्कन इंडस्ट्रीज (कोयंबटूर)। वे भारत में मोटर पंप निर्माण के अग्रणी उद्यमियों में से हैं और वर्तमान में इंडियन पंप मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष भी हैं।

संजीव बजाज–अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक, बजाज फिनसर्व। वे बजाज समूह की वित्तीय सेवाओं का नेतृत्व कर रहे हैं और भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) के पूर्व अध्यक्ष भी हैं।

स्वामी शंकरानंद गिरी–संस्थापक, हिंदू विद्या मिशन, अक्रा (घाना)।

डॉ. झ्वेली मखिजे–पूर्व स्वास्थ्य मंत्री, दक्षिण अफ्रीका।

जिम गेराघटी, मेगन मैकअर्डले, जेसन विलिक, निकोलस क्लेरीमॉन्ट, लैना बेल, माइक वॉटसन, बिल ड्रेक्सेल–वॉशिंग्टन पोस्ट, वॉल स्ट्रीट जर्नल, हडसन इंस्टिट्यूट और अन्य अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं से जुड़े वरिष्ठ पत्रकार और विश्लेषक।

इंडोनेशिया, थाईलैंड और बाली से आए वरिष्ठ हिन्दू पुरोहित एवं विद्वान भी कार्यक्रम में विशेष रूप से शामिल हुए।

इस अवसर पर संघ की सौ वर्ष की यात्रा को रेखांकित किया गया, जिसमें समाज सेवा, शैक्षिक विकास, आपदा प्रबंधन और सांस्कृतिक पुनर्जागरण जैसे क्षेत्रों में उसके योगदान को सराहा गया। -------------------

हिन्दुस्थान समाचार / मनीष कुलकर्णी

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