वायु​ सेना ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान एक रात में पाकिस्तान को घुटनों पर ला दिया : ​एयर चीफ

युगवार्ता    03-Oct-2025
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वायु सेना प्रमुख सालाना प्रेस वार्ता के दौरान


-​ तीनों सेनाओं ने​ स्वदेशी एयर डिफेंस सिस्टम ​'सुदर्शन चक्र​' को लेकर काम शुरू कर दिया

नई दिल्ली, 03 अक्टूबर (हि.स.)। पाकिस्तान के खिलाफ ऑपरेशन सिंदूर के बाद पहली प्रेस कॉन्फ्रेंस में​ वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने कई महत्वपूर्ण जानकारियां साझा कहीं। उन्होंने कहा कि चार दिन के इस ​संघर्ष में हमने पाकिस्तानी वायु सेना के अमेरिका निर्मित 4 से 5 एफ-16 मार गिराए।​ उन्होंने कहा कि​ यह ऑपरेशन 1971 के बाद का सबसे विनाशकारी अभियान था। वायु​ सेना ने अचूक, 'अभेद्य' (अटूट) और 'सटीक' ​लक्ष्य के जरिए सिर्फ एक रात में दुश्मन को घुटनों पर ला दिया। यह सफलता आत्मनिर्भरता और वायु शक्ति की ताकत दिखाती है।

वायु सेना प्रमुख ने शुक्रवार को सालाना पत्रकार वार्ता में भविष्य की तैयारियों पर भी जोर दिया, जैसे एलसीए मार्क-1ए और थिएटर कमांड बनाने को प्राथमिकता पर रखा गया है। ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तान को हुए नुकसान पर भारतीय वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने कहा कि हमने बड़ी संख्या में उनके हवाई अड्डों और प्रतिष्ठानों पर हमला किया है। इन हमलों के कारण पाकिस्तान के कम से कम चार जगहों पर रडार, दो जगहों पर कमांड और कंट्रोल सेंटर, दो जगहों पर रनवे क्षतिग्रस्त हुए हैं। तीन अलग-अलग स्टेशनों में उनके तीन हैंगर क्षतिग्रस्त हुए हैं। हमारे पास एक सी-130 श्रेणी के विमान गिरने के संकेत हैं और कम से कम 4 से 5 एफ-16 लड़ाकू विमान मार गिराए हैं।

उन्होंने कहा कि इसके साथ ही उनकी एक एसएएम प्रणाली नष्ट हो गई है। जहां तक एयर डिफेंस सिस्टम की बात है, तो रूस निर्मित एस-400 एक अच्छी हथियार प्रणाली साबित हुई है। एयर चीफ ने पहलगाम में आतंकी हमले के बाद ऑपरेशन सिंदूर को इस साल का सबसे सफल ऑपरेशन बताया है। भारत की तीनों सेनाओं ने मिलकर इस ऑपरेशन को अंजाम दिया। दुश्मन को किसी तरह की आजादी नहीं दी। ऑपरेशन सिंदूर के बारे में एयर चीफ मार्शल ने ​कहा कि यह इतिहास में दर्ज होगा कि हमने 300 किलोमीटर से भी अधिक ​दूरी तक लक्ष्यों को मार गिराकर उनकी गतिविधियों पर गंभीर रूप से अंकुश लगाया। उन्होंने कहा कि रूस में निर्मित एस-400 एक अच्छी हथियार प्रणाली साबित हुई है।

पाकिस्तान के साथ अचानक संघर्ष विराम पर वायु​ सेना ने कहा कि दुनिया में इस वक्त 2 युद्ध चल रहे है, जिसके थमने पर चर्चा नहीं हो रही, लेकिन हमारी सेना की कार्रवाई ने दुश्मन देश को बातचीत के लिए मजबूर कर दिया। तीनों सेनाओं ने एक साथ योजना बनाई और उसे एक साथ मुकाम तक पहुंचाया। वायुसेना प्रमुख ने दावा किया कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत ने पाकिस्तान के पांच एफ-16 और जेफ-17 लड़ाकू विमानों को मार गिराया था। वायु सेना प्रमुख ने कहा कि ऑपरेशन के दौरान अचूक, अभेद और सटीक को इस तरह डिजाइन किया कि सिर्फ एक रात में दुश्मन को घुटनों पर ला दिया। वायु सेना ने ऑपरेशन सिंदूर का एक और वीडियो जारी करके दिखाया कि किस तरह आतंकी टारगेट या उसके बाद पाकिस्तानी वायु सेना के एयर बेस प्रिसिजन स्ट्राइक के जरिए बर्बाद किए गए।

​उन्होंने इस ऑपरेशन के दौरान मिले सबक पर बात करते हुए 'आत्मनिर्भरता' पर जोर दिया, ताकि जरूरत पड़ने पर किसी दूसरे पर निर्भर न रहना पड़े। पांचवीं पीढ़ी के लड़ाकू विमान के विकास के बारे में पूछने पर उन्होंने कहा कि एएमसीए को इस दशक में पहली उड़ान भरनी है और 2035 तक इसे शामिल और संचालित किया जाना है। कम से कम दो स्क्वॉड्रन की संख्या वाले एयरक्राफ्ट हर साल बनने चाहिए, यानी हर साल वायु सेना को 30-40 विमानों की जरूरत होगी। वायु सेना प्रमुख ने कहा कि तीनों सेनाओं ने स्वदेशी एयर डिफेंस सिस्टम सुदर्शन चक्र को लेकर काम शुरू कर दिया है।

उन्होंने कहा कि इतिहास में यह बात दर्ज होगी कि यह एक ऐसा युद्ध था, जो बहुत ही स्पष्ट उद्देश्य के साथ शुरू हुआ था और इसे बिना ज्यादा समय दिए और शीघ्रता से समाप्त कर दिया गया। हम देख रहे हैं कि दुनिया में क्या हो रहा है। हम उन्हें उस स्थिति तक पहुंचा सकते थे, जहां वे युद्धविराम की मांग करते या युद्ध समाप्त करने की मांग करते। साथ ही हमने एक राष्ट्र के रूप में शत्रुता को समाप्त करने का निर्णय लिया, क्योंकि हमारे अपने उद्देश्य थे। यह कुछ ऐसा है, जो दुनिया को हमसे सीखने की जरूरत है।

ऑपरेशन के दौरान भारत को हुए नुकसान के बारे में पूछने पर वायु सेना प्रमुख ने कुछ भी बताने से साफ इनकार किया।

उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को बोलने दो, उनके बोलने से कुछ नहीं होता। पाकिस्तान के आतंकी ठिकाने बदलने की खबर संज्ञान में लाने पर उन्होंने कहा कि हमारे विकल्प वहीं रहेंगे, हम उन बदले हुए ठिकानों को भी नष्ट करने की क्षमता रखते हैं। चुनौतियां चलती रहेंगी। अगर वो अपनी तैयारी करते हैं, तो हमें अपनी तैयारी करनी पड़ेगी। एयर चीफ मार्शल ने कहा कि वायु सेना ने अपनी लड़ाकू क्षमताओं को बढ़ाने के लिए रोडमैप 2047 तैयार किया है।

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हिन्दुस्थान समाचार / सुनीत निगम

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