

ज्योतिर्मठ, 31 अक्टूबर (हि.स.)। भारत-चीन सीमा के माना गांव पास के बाद नीती पास 17500 फीट देश की सबसे ऊंचाई पर बनने वाली चौथी सड़क का निर्माण कर बीआरओ ने एक और कीर्तिमान हासिल किया है। देश की अंतरराष्ट्रीय सीमाओं तक सड़क संपर्क से जुड़ने से न केवल वर्षभर सुरक्षाबलों को आवागमन की सुविधा रहेगी बल्कि ग्रीष्म काल में स्थानीय लोग एवं देशभर के पर्यटक भी अपनी सीमाओं का दीदार कर सकेंगे।
नीती पास जैसे दुर्गम एवं अत्यधिक ऊंचाई पर सड़क निर्माण कराना न केवल राष्ट्रीय गौरव बल्कि इंजीनियरिंग कौशल का भी एक जीवंत प्रमाण है। भारत -चीन युद्ध 1962 से पूर्व भारत -तिब्बत व्यापार का प्रमुख केन्द्र केलांग मंडी भी अब सड़क संपर्क से जुड़ गया है, जल्द ही माना पास सीमा दर्शन यात्रा की सफलता के बाद अब नीती घाटी से नीती पास सीमा दर्शन की राह भी आसान होगी।
उत्तराखंड राज्य मे ही इससे पूर्व बीआरओ ने देश की दूसरी सबसे अधिक ऊंचाई 18192 फीट पर माना पास को सड़क संपर्क से जोड़ा था, माना पास तक सड़क निर्माण के बाद सीमा दर्शन यात्रा के लिए तो लोग पहुँच ही रहे हैं, इस ऊंचाई की सड़क पर माउंटेन बाइक एमटीबीप्रतियोगिता के आयोजन भी शुरू हुए जिसमें देश के कई राज्यों के साहसिक पर्यटक प्रतिभाग कर रहे हैं।
नीती पास तक सड़क निर्माण के बाद अब नीती पास से नीती या मलारी तक भी एमटीबी प्रतियोगिता का आयोजन हो सकेगा जो नीती घाटी मे भी पर्यटन को बढ़ावा देने मे मील का पत्थर साबित होगा। नीती घाटी मे सीमांत के अंतिम गाँव नीती तक तो सड़क का निर्माण पूर्व मे ही हो चुका था, और अब नीती गाँव से अग्रिम सीमा नीती पास तक 48किमी सड़क का निर्माण न केवल पूरा हो चुका है बल्कि ग्यालढूँग से नीती पास के 24किमी मे डामरीकरण का कार्य भी जारी है जिसमे इन दिनों साढ़े तीन सौ से अधिक मजदूर कार्य पर लगे है।
आने वाले ग्रीष्मकाल मे यदि माना पास की तर्ज पर सीमा दर्शन हेतु स्थानीय लोगों एवं पर्यटकों को आवागमन की अनुमति दी जाती है तो स्थानीय लोग व देश के पर्यटक न केवल नीती घाटी से अपनी सीमा का दर्शन कर सकेंगे बल्कि भारत -चीन युद्ध से पूर्व तिब्बत ब्यापार का केन्द्र रही केलांग मंडी का दीदार भी कर सकेंगे। सामारिक दृष्टि अत्यंत महत्वपूर्ण नीती पास तक इस सड़क का निर्माण बीआरओ द्वारा स्वयं ही किया जा रहा है, ग्यालढूँग-नीती पास सड़क के साइट इंचार्ज विनोद कुमार सहित पूरी टीम की देखरेख मे सड़क को बेहतरीन बनाने व डामरीकरण के कार्य किए जा रहे हैं। ग्यालढूँग-नीती पास सड़क निर्माण का कार्य वर्ष 2023 मे शुरू हुआ और विषम भौगोलिक परिस्थितयों के बावजूद दो वर्ष मे ही 24किमी सड़क तैयार कर ली गई।
अब देखना होगा कि नीती घाटी से नीती पास तक सड़क संपर्क मार्ग तैयार होने के बाद नीती घाटी मे भी पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए माना पास की तर्ज पर नीती पास सीमा दर्शन की अनुमति मिल सकेगी। इस पर स्थानीय लोगों के साथ ही साहसिक पर्यटकों की भी नजरें रहेंगी।
हिन्दुस्थान समाचार / प्रकाश कपरुवाण