
नई दिल्ली, 1 नवंबर (हि.स.)। केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) ने दीक्षांत आईएएस और अभिनव आईएएस को झूठे और भ्रामक विज्ञापन चलाने के लिए आठ-आठ लाख रुपये का जुर्माना लगाया है। दोनों संस्थानों पर यह कार्रवाई उपभोक्ता अधिकारों के उल्लंघन और अनुचित व्यापारिक तरीके अपनाने के मामले में की गई है।
सीसीपीए के मुताबिक, इन दोनों कोचिंग संस्थानों ने अपने विज्ञापनों में सफल यूपीएससी उम्मीदवारों के नाम और फोटो बिना इजाजत के इस्तेमाल किए। उन्होंने अपनी कोचिंग की झूठी सफलता दिखाने के लिए ऐसे दावे किए जो हकीकत से बहुत अलग थे। जांच में पता चला कि दीक्षांत आईएएस ने 200 से ज्यादा परिणाम यूपीएससी 2021 का दावा किया, जबकि इसके पास इसका कोई ठोस सबूत नहीं था। वहीं, अभिनव आईएएस ने 2200 से अधिक चयन, आईएएस टॉप 10 में 10 से अधिक चयन और एचसीएस-पीसीएस में पहला रैंक जैसे दावे किए, जिनका कोई प्रमाण नहीं दिया जा सका।
सीसीपीए ने कहा कि ऐसे झूठे विज्ञापन छात्रों को गुमराह करते हैं और उनके मेहनत, समय और पैसे को नुकसान पहुंचाते हैं। शिक्षा के क्षेत्र में इस तरह की हरकतें उपभोक्ता अधिकारों का सीधा उल्लंघन हैं।
अब तक सीसीपीए ने 57 कोचिंग संस्थानों को भ्रामक विज्ञापन और अनुचित व्यापारिक प्रथाओं के लिए नोटिस भेजे हैं। इनमें से 27 संस्थानों पर करीब 98.6 लाख रुपये का जुर्माना लगाया गया है और उन्हें ऐसे झूठे दावे तुरंत बंद करने के निर्देश दिए गए हैं।
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हिन्दुस्थान समाचार / प्रशांत शेखर