राफेल नडाल ने चौथे दौर की हार के बाद मैड्रिड ओपन को अलविदा कहा

01 May 2024 15:50:54
Rafael Nada-emotional goodbye to Madrid Open


मैड्रिड, 1 मई (हि.स.)। स्पेन के दिग्गज टेनिस खिलाड़ी राफेल नडाल ने चौथे दौर की हार के बाद बुधवार को मैड्रिड ओपन को अलविदा अलविदा कह दिया।

टूर्नामेंट के पांच बार के चैंपियन (2005, 2010, 2013, 2014 और 2017) नडाल ने चेक खिलाड़ी जिरी लेहेका के खिलाफ मैड्रिड ओपन के करियर का अपना अंतिम मैच खेला, जहां चौथे दौर में उन्हें 5-7, 4-6 से हार मिली।यह मैच दो घंटे और दो मिनट तक चला।

चौथे दौर में एक जीत का मतलब मैड्रिड में स्पेनिश खिलाड़ी के लिए 60वीं जीत होती, लेकिन अब 2003 में मैड्रिड एरिना में एलेक्स कोरेट्जा के खिलाफ उनके पहले मैच के बाद से, उनकी गिनती हमेशा के लिए 59 जीत और सिर्फ 15 हार पर ही रहेगी।

मैच के बाद, टूर्नामेंट आयोजकों ने कोर्ट पर 2008, 2010, 2013-2014 और 2017 के उनके पांच खिताबों के बैनर बंद छत से फहराए गए। उन्होंने नडाल के हाइलाइट्स का एक वीडियो भी दिखाया,इस दौरान जबकि उनकी पत्नी और बहन स्टैंड में आंसू बहा रहीं थीं।

नडाल ने एटीपी टूर के हवाले से कहा, यह मेरे लिए बहुत खास सप्ताह रहा, व्यक्तिगत रूप से और मेरे टेनिस के लिए कई मायनों में बहुत सकारात्मक। मुझे फिर से कोर्ट पर खेलने का मौका मिला। कुछ हफ़्ते पहले, बार्सिलोना से दो दिन पहले, मुझे नहीं पता था कि मैं फिर से आधिकारिक मैच में भाग ले पाऊंगा या नहीं और अब मैं दो हफ़्ते खेल चुका हूँ। यह अविस्मरणीय रहा है।

उन्होंने कहा, यह एक अविश्वसनीय यात्रा रही है, जो तब शुरू हुई जब मैं छोटा था। मैं पहली बार 2003 में मैड्रिड आया था, जब टूर्नामेंट इनडोर खेला गया था। पहली बार मैं 2005 में प्रतिस्पर्धी महसूस करते हुए यहाँ आया था। यह मेरे करियर की सबसे रोमांचक जीत में से एक थी। तब से, सभी ने बिना शर्त समर्थन दिया है।।

नडाल ने कहा, यह एक मुश्किल दिन है, लेकिन यह एक सच्चाई है। मेरा शरीर और मेरा जीवन मुझे कुछ समय से संकेत दे रहे थे। मैं इस कोर्ट पर खेलते हुए अलविदा कहने में सक्षम था, जो मेरे लिए सबसे भावनात्मक क्षणों में से एक था। मैड्रिड कई बार मेरे लिए ग्रैंड स्लैम से भी ज़्यादा महत्वपूर्ण रहा है। यहाँ की यादें हमेशा मेरे साथ रहेंगी।

22 ग्रैंड स्लैम एकल खिताब जीतने वाले 37 वर्षीय नडाल ने कहा, मैंने यहां 21 साल तक जो कुछ भी खेला है, वह मेरे लिए एक उपहार है। मैं बस इतना ही कह सकता हूं कि 'धन्यवाद।'

हिन्दुस्थान समाचार/ सुनील

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