गंगाेत्री धाम में स्वयंसेवकाें का पथ संचलन, सेवा व अनुशासन का दिया संदेश

13 Oct 2025 18:04:00
संघ सरिता बह रही है,  उस भगीरथ की अनोखी विजय गाथा कह रही है...


उत्तरकाशी, 13 अक्टूबर (हि.स.)। शताब्दी वर्ष पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के स्वयंसेवकों ने गंगोत्री धाम में पूर्ण गणवेश के साथ पथ संचलन किया। इसमें भारत माता की उद्घोष के साथ पथ संचलन करते हुए देश सेवा व अनुशासन का संदेश दिया गया।

गंगोत्री धाम में मां गंगा तट पर स्वयंसेवकों ने गणवेश व डंड के साथ

शताब्दी वर्ष धूमधाम से मनाया गया। कार्यक्रम के मुख्य वक्ता विभाग संघचालक गुलाब सिंह नेगी ने संघ की (1925 से 2025) 100 वर्षों की लम्बी यात्रा में स्वयंसेवकों के योगदान और बलिदानों का स्मरण कराया।उन्होंने कहा कि 1962 चीन आक्रमण के समय स्वयंसेवकों ने सेना का मनोबल बढ़ाने (सरहद तक सामान पहुंचाने, मार्ग एवं हवाई पट्टी बनाने) का कार्य किया था। जिससे प्रभावित होकर तत्कालीन प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरु ने 1963 गणतंत्र दिवस की परेड दिल्ली में संघ को आमंत्रित किया था। उन्होंने तत्कालीन सरकारों के संघ पर लगाए गए प्रतिबन्धों के संबंध में भी बताया। उन्होंने बताया कि पहला प्रतिबन्ध 1948 महात्मा गांधी की हत्या के बाद, दूसरा आपातकाल 1975 में इंदिरा गांधी ने लगाया था, जिसमें स्वयंसेवकों को अमानवीय यातनाएं दी गई थी और तीसरा 1992 अयोध्या में विवादित ढाँचा गिराये जाने के बाद प्रतिबंध लगाया गया था। इन तीनों बार उच्चतम न्यायालय ने सरकार के संघ पर लगे प्रतिबंध हटाने का आदेश दिया था।

उन्हाेंने कहा कि संघ की शताब्दी वर्ष में हर स्वयंसेवक समाज में जाकर पंच परिवर्तन (कुटुंब प्रबोधन, सामाजिक समरसता, पर्यावरण संरक्षण, स्वदेशी और नागरिक कर्तव्य) संदेश देगा। सप्ताह में एक दिन सपरिवार सामूहिक भोजन, भजन, पारवारिक चर्चा अवश्य करे। संघ का आधार समरसता है, जहाँ जात- पात व छुआछूत का कोई स्थान नहीं है। उन्हाेंने कहा कि समरस समाज से ही देश का विकास होता है। पर्यावरण संरक्षण के लिए जन्म दिवस, विवाह आदि उत्सवों पर पेड़ अवश्य लगायें। स्वदेशी वस्तुओं का उपयोग आत्मनिर्भर भारत बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। नागरिक दायित्व का पालन हर व्यक्ति का कर्तव्य है। उन्हाेंने स्वयंसेवकों से आवाह्न किया कि इस सन्देश को प्रत्येक गांव में घर-घर पहुंचाकर राष्ट्र को सबल और स्वावलम्बी बनाने का कार्य करें।

कार्यक्रम के अध्यक्ष गंगोत्री मन्दिर समिति के सुशील सेमवाल ने कहा कि संघ का कार्य माँ गंगा की अविरल धारा के समान ही पूरे देश काे सुख और समृद्धि प्रदान कर रहा है। इस अवसर पर उत्तरकाशी जिला प्रचारक गौत्तम, भटवाड़ी खण्ड कार्यवाहक सतवीर नेगी, मुखबा मण्डल कार्यवाह नटवर नौटियाल, मुख्य शिक्षक बद्री, प्रधानाचार्य वृज मोहन उनियाल, हरीश सेमवाल रावल, अशोक सेमवाल, अध्यक्ष जिला पंचायत रमेश चौहान, नागेन्द्र चौहान, जितेन्द्र राणा, कुशाल सिंह नेगी, राजेश सेमवाल, डॉ सुशील बडोनी आदि माैजूद रहे।

हिन्दुस्थान समाचार / चिरंजीव सेमवाल

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