
रांची, 15 नवंबर (हि.स.)। झारखंड उच्च न्यायालय का 25वां स्थापना दिवस धूमधाम से शनिवार को मनाया गया। उच्चतम न्यायालय के मनोनीत चीफ जस्टिस सूर्यकांत झारखंड उच्च न्यायालय के रजत जयंती समारोह के मुख्य अतिथि के रूप में कार्यक्रम में सम्मिलित हुए।
झारखंड उच्च न्यायालय के स्थापना का रजत जयंती समारोह पर उच्चतम न्यायालय के जस्टिस सूर्यकांत ने भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती का स्मरण करते हुए सभी को सत्य और सच्चाई के मार्ग पर चलने की प्रेरणा दी। जस्टिस सूर्यकांत ने कहा कि न्याय का रोल सिर्फ विवादों का निष्पक्ष समाधान करना नहीं, बल्कि समाज के सभी वर्गों को समानता, पारदर्शिता और जनता द्वारा न्याय पर भरोसा देना भी है। उन्होंने कहा कि समाज को सुरक्षित रखने और लोकतंत्र को मजबूत बनाने के लिए न्यायालय की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है।
उच्चतम न्यायालय के मनोनीत चीफ जस्टिस सूर्यकांत ने कहा है कि त्वरित न्याय के लिए अब तकनीक का इस्तेमाल करना होगा। बार और बेंच दोनों के लिए अब यह जरूरी है। संविधान और जनतांत्रिक मूल्यों पर भी गौर करना होगा। न्यायपालिका के रिक्त पदों को भरने और संसाधन उपलब्ध हो इसके लिए भी काम करना होगा। जस्टिस सूर्यकांत ने झारखंड उच्च न्यायालय के रजत जयंती समारोह के मुख्य अतिथि के रूप में संबोधन में ये बातें कही।
इस दौरान केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कहा कि झारखंड उच्च न्यायालय में नई तकनीक का इस्तेमाल हुआ है। नए भवन में सोलर पैनल सहित अन्य सुविधाओं का ख्याल रखा गया है। झारखंड उच्च न्यायालय में ग्रीन एनर्जी का प्रयोग देखकर केंद्रीय कानून मंत्री बहुत प्रसन्न हुए। उन्होंने कहा कि वर्तमान में एआई तकनीक का इस्तेमाल न्यायिक प्रक्रिया में किया जा सकता है। उन्होंने राज्य में केंद्रीय न्यायाधिकरण की बेंच बनाए जाने की मांग पर भी विचार करने का आश्वासन दिया।
स्थापना दिवस समारोह में उच्चतम न्यायालय और झारखंड उच्च न्यायालय के कई न्यायाधीश-मजिस्ट्रेट, वरिष्ठ अधिकारी और अन्य विशेष अतिथि भी उपस्थित थे। इस दौरान डिजिटल न्याय, सामाजिक न्याय, पारदर्शिता और महिला सशक्तिकरण पर भी चर्चा हुई। समारोह के दौरान झारखंड उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश ने कहा कि समय के साथ अदालतों की जिम्मेदारियां और चुनौतियां बढ़ रही हैं, जिनके लिए सभी को तकनीकी और संवैधानिक जागरूकता जरूरी है।
इस दौरान झारखंड उच्च न्यायालय के लिए एक नया भवन बनाने की योजना भी रेखांकित की गई। इसमें जनता को बेहतर सुविधाएं देने की बात कही गई। इस समारोह में न्यायालय की गरिमा, निष्पक्षता और पारदर्शिता के मूल्यों को पुनः दोहराया गया तथा सबको अपराध और अन्याय के खिलाफ हमेशा खड़े रहने का संकल्प दिलाया गया।
------------------
हिन्दुस्थान समाचार / विकाश कुमार पांडे