वैश्विक शांति अभियानों को मजबूत करने के लिए इंडोनेशिया योगदान करने को तैयार

24 Sep 2025 14:47:31
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- राष्ट्रपति प्रबोवो ने संयुक्त राष्ट्र महासभा में कहा, गाजा में शांति के साथ 'स्वतंत्र फिलिस्तीन-सुरक्षित इजराइल चाहिए'

न्यूयॉर्क, 24 सितंबर (हि.स.)। इंडोनेशिया के राष्ट्रपति प्रबोवो सुबियांटो ने मंगलवार को संयुक्त राष्ट्र महासभा में घोषणा की कि उनका देश वैश्विक शांति अभियानों को मजबूत करने के लिए शांति सैनिक सहायता और धन दोनों का योगदान देने के लिए तैयार है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की मौजूदगी में प्रबोवो ने संयुक्त राष्ट्र, बहुपक्षवाद और सामूहिक सुरक्षा के सिद्धांत के प्रति इंडोनेशिया की दीर्घकालिक प्रतिबद्धता की पुष्टि की। उन्होंने कहा कि 'हमें गाजा में शांति के साथ स्वतंत्र फिलिस्तीन के साथ सुरक्षित इजराइल चाहिए'।

इंडोनेशिया के सूचना संचार माध्यम 'जकार्ता ग्लोब' की रिपोर्ट के अनुसार प्रबोवो ने अपने संबोधन में कहा, आज इंडोनेशिया संयुक्त राष्ट्र शांति सेना में सबसे बड़े योगदानकर्ताओं में से एक है। जहां शांति की जरूरत है, हम वहां सेवा करते रहेंगे। प्रबोवो ने घोषणा की कि यदि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद और महासभा अनुरोध करें तो इंडोनेशिया 20,000 या उससे अधिक सैनिकों को तैनात करने के लिए तैयार है। उन्होंने कहा कि इन सैनिकों को गाजा, यूक्रेन, सूडान और लीबिया जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में, या ऐसे किसी भी स्थान पर तैनात किया जा सकता है जहां शांति स्थापित करने और उसकी रक्षा करने की आवश्यकता हो।

राष्ट्रपति प्रबोवो ने कहा, जब फिलिस्तीनियों को न्याय और अस्तित्व से वंचित किया जा रहा हो, तब हमें कभी चुप नहीं रहना चाहिए। राष्ट्रपति प्रबोवो सुबियांटो ने 19 मिनट के भाषण में इस शर्त पर इजराइल के साथ संबंध स्थापित करने की प्रतिबद्धता दोहराई कि वह फिलिस्तीनी राज्य को मान्यता दे। इससे पहले फ्रांस और सऊदी अरब ने गाजा संकट के समाधान के लिए द्वि-राज्य समाधान पर उच्च स्तरीय सत्र की सह-मेजबानी की। इस सत्र में प्रबोवो ने कहा, हमें फिलिस्तीन के लिए राज्य का दर्जा सुनिश्चित करना चाहिए, लेकिन इंडोनेशिया यह भी घोषणा करता है कि एक बार इजराइल फिलिस्तीन की स्वतंत्रता और राज्य के दर्जे को मान्यता दे देता है, तो इंडोनेशिया तुरंत इजराइल राज्य को मान्यता दे देगा। प्रबोवो ने कहा, हम इजराइल की सुरक्षा के लिए सभी गारंटियों का समर्थन करेंगे।

उन्होंने कहा, राज्य का दर्जा शांति का प्रतीक होना चाहिए। मान्यता का अर्थ स्थायी शांति की दिशा में एक वास्तविक अवसर होना चाहिए। यह सभी पक्षों के लिए वास्तविक शांति होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि आज फिलिस्तीन का भाग्य और इजराइल का भविष्य संयुक्त राष्ट्र की विश्वसनीयता से भी जुड़ा है। इस दौरान प्रबोवो का माइक्रोफ़ोन बंद हो गया। माइक्रोफ़ोन वापस चालू होने के कुछ समय बाद प्रबोवो ने अपना भाषण यह कहकर समाप्त किया, अभी शांति। तुरंत शांति। हमें शांति चाहिए।

इंडोनेशिया के विदेश मंत्रालय ने बाद में स्पष्ट किया कि सत्र की प्रक्रिया का एक नियम था कि प्रत्येक देश के पास वक्तव्य देने के लिए 5 मिनट का समय होता है। यदि कोई वक्ता निर्धारित समय से अधिक समय तक भाषण देता है, तो उसका माइक्रोफ़ोन बंद कर दिया जाता है। लाइव स्ट्रीम में माइक्रोफोन के बंद होने के बावजूद प्रतिनिधि प्रबोवो का भाषण सुन पा रहे थे।

प्रबोवो ने संयुक्त राष्ट्र में अपने पहले भाषण में विश्व शांति और खाद्य आपूर्ति के बीच संतुलन बनाने की कोशिश की। प्रबोवो ने बढ़ती विश्व जनसंख्या के बीच बढ़ती भुखमरी के बारे में उपस्थित जनसमूह को आगाह किया। प्रबोवो ने खुलासा किया कि इंडोनेशिया ने चावल के मामले में आत्मनिर्भरता हासिल कर ली है।

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हिन्दुस्थान समाचार / मुकुंद

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